राजधानी दिल्ली में मासूम बच्चे तय वजन से तीन गुना भारी बैग उठाकर स्कूल जा रहे हैं। दिल्ली अभिभावक संघ (डीपीए) ने मंगलवार को एक स्कूल में किए ग्राउंड रियलिटी चेक के बाद यह दावा किया है।
डीपीए का कहना है कि मोहन गार्डन स्थित मॉडल स्कूल के बाहर छुट्टी के दौरान जांच में नर्सरी से 11वीं तक के कुल 86 बच्चों के स्कूल बैग का वजन मापा गया है, जिसमें 85 बच्चों के बैग का वजन तय मानकों में से तीन गुना अधिक पाया गया है। डीपीए की अध्यक्ष अपराजिता गौतम का कहना है कि लगातार मिल रही शिकायतों के बाद मंगलवार को जांच किया गया। इस दौरान मिले नतीजों से साफ हुआ कि स्कूल सीबीएसई, शिक्षा निदेशालय समेत अदालत के आदेशों की अवहेलना करते हुए बच्चों को भारी बैग उठाने के लिए मजबूर कर रहे हैं। आदेशों का पालन नहीं हो रहा है।
चिंताजनक
डीपीए के अनुसार जांच में सामने आए तथ्य के अनुसार कक्षा दो के बच्चे पांच किलो का बैग उठाकर स्कूल जा रहे हैं। वहीं, नियामानुसार बैग का वजन 1.5 किलो होना चाहिए। नर्सरी के बच्चों के बैग का वजन भी 4.5 किलो के पास मिला है।
क्या हैं मानक
शिक्षा निदेशालय ने बस्ते को लेकर मानक तय किए हैं। 29 नंवबर 2018 को निदेशालय की ओर से जारी निर्देश के अनुसार, कक्षा एक व दो के बच्चों के बैग का वजन 1.5 किलो, कक्षा तीन से पांच तक के बच्चों के बैग का वजन 2 से 3 किलो, कक्षा छह व सात में 3 से 4 किलो, आठवीं व नौवीं में 4.5 किलो और दसवीं में पांच किलो होना चाहिए।